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जिला अस्पताल के बाद एम्स के मरीजों के परिजनों के लिये 'अन्नपूर्णा मुहिम ' शुरू की, "प्रयास एक परिवर्तन का", परिवार ने " प्रयास एक परिवर्तन का, के विचार से प्रेरित जन जन के सहयोग से चल रहे सेवा के बारे में संयोजक प्रवीण कुमार श्रीवास्तव ने बताया कि एम्स में शहर के बाहर से आये मरीजों के परिजनों के भोजन की समस्याओं को देखते हुए शहर के संवेदनशील लोगों के साथ रोज जिला महिला अस्पताल,हनुमान प्रसाद पोद्दार कैंसर अस्पताल व जरूरतमंदों में भोजन वितरण के साथ एम्स में भी आज से मात्र रु 10 में भोजन वितरण की शुरुआत की गई, जिसमें बाजार में मिलने वाले रु35--40/प्लेट भोजन से बेहतर मात्र रु10 में उपलब्ध कराने का प्रयास है,मरीज की देखभाल के साथ साथ भोजन की व्यवस्था करना कठिन होता है व मानसिक तनाव भी रहता है,इसी को ध्यान में रखकर एक समय परिजनों को राहत प्रदान करने की इच्छा से आज से सुबह 11:45 से मात्र रु 10 में भोजन उपलब्ध कराया जा रहा है, जिसमें शुरुआत में 200 लोगों के लिए व्यवस्था की गई है ।अस्पताल प्रशासन द्वारा जगह उपलब्ध कराते ही परिजनों के लिए भोजन के साथ साथ चाय नाश्ते की भी व्यवस्था रियायती दर पर उनकी जरूरत के अनुसार की जाएगी। उपलब्ध संसाधनों को देखते हुए संख्या बढ़ाई जा सकती हैं। आज भोजन वितरण में व्यापारी कल्याण बोर्ड के उपाध्यक्ष पुष्प दंत जैन, पूर्व महापौर डॉ सत्या पांडेय, गुरुद्वारा जटा शंकर समिति के अध्यक्ष सरदार जसपाल सिंह जी,पूर्व उप महापौर जीतेन्द्र सैनी,जन सेवा संस्थान के सत्यदास बिस्वास, सुधा मोदी,सैय्यद,कलीम उल,शमशाद राइन,नवीन श्रीवास्तव, अनुराग सुमन,दीप्ति,अश्वनी सिंह, संतोष, अजय आदि की उपस्थिति रही।इस अवसर पर राज्य मंत्री दर्जा प्राप्त भाजपा के वरिष्ठ पदाधिकारी व समाज सेवी ने "अन्नपूर्णा मुहिम" के तहत 2 अस्पताल में मात्र रु10 में इतनी बेहतर स्तर का पैक भोजन उपलब्ध कराने का प्रयास सराहनीय है व इस कार्य में यथा सम्भव सहयोग का आश्वासन दिया, पूर्व महापौर डॉ सत्या पांडेय ने इस तरह से पैकेट में भोजन वितरण की सराहना की, क्यूंकि इसे लेकर व्यक्ति अपनी सुविधानुसार कभी भी, कंही भी खा सकता है,साथ साथ हर मुहिम की तरह इस मुहिम की सफलता की कामना की, कवियत्री व समाजसेवी सुधा मोदी जी ने वितरण सेवाओं मे अपने साथ साथ अन्य सामाजिक संस्थाओं को भी साथ जोड़ने की बात की व हर तरह से मदद करने के लिए कहा।एम्स में अन्नपूर्णा मुहिम की शुरुआत में अध्यक्ष प्रबंधक समिति,गुरुद्वारा जटा शंकर,सरदार जसपाल सिंह ने परिजनों को भोजन उपलब्ध कराने की सराहना करते हुए आने वाले समय में गुरुद्वारा व सिक्ख व सिंधी समाज की भी सहभागिता व सहयोग का आश्वासन दिया।जनसेवा सेवा संस्थान के सत्यदास बिस्वास ने कहा कि हर व्यक्ति को समाज के लिए कुछ करना चाहिए जो प्रवीण श्रीवास्तव अक्टूबर 2015 से लगातार बढ़ते क्रम में कर रहे हैं, इतनी अल्प अवधि में बिना सरकारी सहायता के 4 माह में 300 सेवायें व वर्ष में 1000 सेवायें इनके पूर्ण समर्पण को दर्शाती है, हम इनके उज्जवल भविष्य व स्वास्थ्य की कामना करते हुए आशीर्वाद प्रदान करते हैं। अन्नपूर्णा मुहिम 2017 में जेठ के बड़े मंगलवार से शुरू की गई थी जो धीरे धीरे इस व्यापक स्वरूप में हो रही है, आज से रोज दिन में 11:45 से 12:45 बजे तक एम्स,,शाम 6 बजे से जिला अस्पताल व 7:30 बजे से जरूरतमंदों में भोजन वितरण किया जाएगा साथ साथ 3 बजे कैंसर रोगियों में न्यूट्रीशियन पैक का वितरण किया जाएगा।1अक्टूबर माह से 31 जनवरी तक 296 सेवायें की जा चुकी हैं, इस वर्ष 1000 से ज्यादा सेवायें संभावित है। आप सभी संवेदनशील जनों से समाचार पत्रों के माध्यम से अनुरोध है कि समाज के लिए यदि हम सब थोड़े थोड़े आर्थिक सहयोग वंचित व्यक्ति के लिए कर सके तो एक बेहतर समाज का निर्माण कर सकते हैं,शहर के सभी जरूरतमंदों को उनकी मूलभूत सुविधाएं उपलब्ध करा सकते हैं।किसी भी तरह के सुझाव व सहयोग के लिए आप 9415332764 पर सम्पर्क कर सकते हैं। मासिक सेवाओं में बिस्वास दादा,सुधीर वर्मा, संजीत श्रीवास्तव, मनोज बंका,पंकज सिंह,प्रेम जालान,रंजीत बदलानी,डॉ मोनिका मिश्रा,मनकेश्वर पांडेय,विवेक श्रीवास्तव,मनीष जैन, सुधीर जैन, दिव्येन्दु नाथ, अनिता, डॉ रितु , समृद्धि, सृष्टि,सुरेन्द्र यादव,विश्वदीप बेरी, अनुतोष मिश्रा, राजेश,नीरज, अवध गुप्त, सत्यम सिंह,डॉ प्रतिमा,रीता,सीमा,अजय, प्रधुम्न आदि का सहयोग रहा।
इसके अलावा हर माह बृद्धजनो, कुष्ठरोगियों,महिला रोगियों, मूक बधिर बच्चों, दृष्टि बाधित बच्चों, मंद बुद्धि बच्चों,व 3 स्थानों पर सांध्यकालीन शिक्षा ग्रहण कर रहे बच्चों को माह में कम से कम एक बार यथा सम्भव सहयोग किया जाता है,साथ साथ वर्ष में 1000 से ज्यादा पौधारोपण,25000 से ज्यादा भिन्न भिन्न स्लोगन लि,खे झोले का वितरण व इस वर्ष 125000 से ज्यादा लोगों को भोजन उपलब्ध कराने का प्रयास है, इस प्रयास में कोई भी संवेदनशील व्यक्ति मात्र रु20 के सहयोग से एक जरूरत मंदो की मदद कर सकता है।
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