जीत का परचम लहराकर आकृति बदलेंगी गांव की तस्वीर


बहादुरपुर ब्लॉक के अठदमा में बीएड पास आकृति बनीं प्रधान। तीन दशक से इसी परिवार में रहा है प्रधान का पद, चाची और पापा के बाद अब बेटी ने संभाली जिम्मेदारी।

बस्ती। जिले के बहादुरपुर ब्लॉक के अठदमा ग्राम पंचायत में इस बार आधा दर्जन शिक्षित महिलाओं ने प्रधान पद के लिए दावेदारी किया लेकिन एक घर की बेटी आकृति (23) ने जीत का परचम लहराने के बाद अब गांव के विकास का बीड़ा अपने हाथों में उठा लिया है।
अठदमा ग्राम पंचायत में 1990 में जब श्यामनारायन उर्फ कक्कू शुक्ल सबसे युवा ग्राम प्रधान के रूप से चयनित हुए तो समय-समय पर इस ग्राम पंचायत से जुड़े तीन राजस्व गांव गोइरी, अठदमा व जेसईपुर के बहुत सारे उम्मीदवारों ने दांव आजमाया लेकिन प्रधान का पद घर से बाहर किसी के पास नहीं गया। वहीं एक बार जब सीट अनुसूचित के लिए आरक्षित हुई तो इस परिवार के ड्राइवर ने नुमाइंदगी संभाल लिया और दूसरी बाद चाची प्रधान बनीं।
यही नहीं पिछले चुनाव में कक्कू शुक्ल ने 75 फीसदी वोट हासिल कर एक बड़ा रिकार्ड बनाया तो इस बार जब यह ब्राहमण बाहुल्य ग्राम पंचायत सामान्य महिला के लिए आरक्षित हुई तो कई घरानों की बहुओं ने प्रधान बनने के लिए दावेदारी पेश कर दिया। इसे देख इस घराने की बेटी बीएड पास आकृति ने भी चुनाव में हिस्सा ले लिया।

रविवार की रात जब वह प्रधान पद के लिए विजयी घोषित हो गईं और आरओ जयप्रकाश ने प्रमाणपत्र दिया तो आकृति का उत्साह दोगुना दिखाई दिया। नगर बाजार टाउन एरिया से सटी इस ग्राम पंचायत में शिक्षा, बिजली, पानी व सड़क जैसी सुविधाएं तो पहले से ही मुहैया हैं लेकिन अभी भी बहुत कुछ विकास कार्य होने के लिए शिक्षित बिटिया का आगे आना एक शुभ संकेत है।

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