पूर्व मुख्यमंत्री मुलायम सिंह यादव के परिवार में भाजपा ने मारी सेंध, अपर्णा यादव कल भाजपा में होगी शामिल

सपा संरक्षक मुलायम सिंह यादव की छोटी बहू अपर्णा यादव का भाजपा जाना लगभग तय

अपर्णा यादव कल सुबह 10 बजे मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ की मौजूदगी में भाजपा में होंगी शामिल

मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ और अपर्णा के पिता जर्नलिस्ट अरविंद सिंह बिष्ट का पैतृक गांव पौड़ी गढ़वाल होना भी प्रमुख कारण है।

मुलायम सिंह की छोटी बहू अपर्णा यादव बीजेपी में शामिल हो सकती हैं। सूत्रों के अनुसार, अपर्णा की बीजेपी से बातचीत फ़ाइनल हो चुकी है। अपर्णा यादव ने 2017 का विधानसभा चुनाव लखनऊ की कैंट सीट से लड़ा था। कैंट विधानसभा क्षेत्र से 2017 में हुए विधानसभा चुनाव में अपर्णा यादव दूसरे नंबर पर रही थीं। वह भारतीय जनता पार्टी की प्रत्याशी रीता बहुगुणा जोशी से हार गई थीं। हालांकि, अपर्णा को करीब 63 हजार वोट मिले थे। अपर्णा यादव मुलायम सिंह की दूसरी पत्नी साधना गुप्ता के बेटे प्रतीक यादव की पत्नी हैं।

अपर्णा यादव और मुलायम के बेटे प्रतीक यादव की शादी 2011 में हुई थी। अपर्णा यादव ने मैनचेस्टर विश्वविद्यालय से मास्टर डिग्री ली है। अपर्णा यादव भातखंडे संगीत विश्वविद्यालय में 9 सालों तक शास्त्रीय संगीत की शिक्षा भी ली है और वह ठुमरी की कला में माहिर हैं। वह एक bAware के नाम से एक संगठन भी चलाती हैं। ये संगठन महिलाओं के अधिकारों और सशक्तिकरण के लिए काम करते हैं।

अपर्णा यादव का पूरा नाम अपर्णा सिंह बिष्ट है। उनके पिता टाइम्स ऑफ इंडिया, लखनऊ ब्यूरो में चीफ एडिटर हैं। अपर्णा ने अपनी स्कूलिंग पढ़ाई लखनऊ से की हैं। इनके स्कूल में मुलायम के बेटे प्रतीक भी पढ़ा करते थे, जहां से दोनों में दोस्ती हो गई।

इग्लैंड से की है पढ़ाई लखनऊ में स्कूलिंग के बाद अपर्णा अपनी आगे की पढ़ाई के लिए इग्लैंड चली गईंं। यहां उन्होंने मैनचेस्टर यूनिवर्सिटी से अंतर्राष्ट्रीय सम्बन्ध के विषय में मास्टर डिग्री की। वहीं से प्रतीक यादव ने भी लीड्स यूनिवर्सिटी से एमएससी इन मैनेजमेंट की डिग्री पूरी की है। दोनों अपनी पढ़ाई की वजह से काफी दिनों तक दूर रहे। इस अरसे के दौरान उनकी बातें सोशल मीडिया पर ही होती थी।

प्रतीक-अपर्णा की नजदीकियां जिस दौरान इनकी दोस्ती हुई थी। उस वक्त किसी को ये नहीं मालूम था कि प्रतीक मुलायम के बेटे हैं। मुलायम ने 2007 में अपनी दूसरी पत्नी साधना गुप्ता और प्रतीक को सार्वजनिक रूप से अपनाया था। इससे पहले अपर्णा की नजर में प्रतीक एक साधारण लड़का था। स्कूल के बाद ही दोनों की दोस्ती गहरी हुई और दोनों एक-दूसरे को डेट करने लगे।

अपर्णा के पिता को रिश्ता मंजूर नहीं था। जब अपर्णा के पिता को पता चला कि प्रतीक मुलायम की दूसरी पत्नी के बेटे हैं, जिस रिश्ते को उन्होंने इतने सालों तक छुपाकर रखा तो उन्होंने इस रिश्ते को लेकर कड़ा एतराज जताया। उनके मुताबिक प्रतीक को मुलायम सिंह अखिलेश यादव जैसा दर्जा कभी नहीं दे सकते, इसलिए उन्होंने प्रतीक को अपनी बेटी से अलग रहने की हिदायत दी, लेकिन बाद में मुलायम के मनाने पर उनके पिता राजी हो गए।

शादी के बाद राजनीति में आने की इच्छा जताई थी। मुलायम ने हमेशा से ही परिवारवाद को बढ़ावा दिया है। मुलायम की मर्जी थी कि उनकी दोनों बहूएं राजनीति के दंगल में उतरे।

अपर्णा बिष्ट यादव ने मैनचेस्टर विश्वविद्यालय से मास्टर डिग्री पूरी की। उन्होंने भातखंडे संगीत विश्वविद्यालय में नौ वर्षों तक शास्त्रीय संगीत में औपचारिक शिक्षा ग्रहण की है। वह ठुमरी की कला में विशिष्ट है। 2014 में जब उन्होंने पीएम नरेंद्र मोदी के स्वच्छ भारत अभियान की प्रशंसा की थी तब वे लाइमलाइट में आयी थी।

अपर्णा यादव और मुलायम के बेटे प्रतीक यादव की शादी 2011 में हुई थी। अपर्णा यादव ने मैनचेस्टर विश्वविद्यालय से मास्टर डिग्री ली है। अपर्णा यादव भातखंडे संगीत विश्वविद्यालय में 9 सालों तक शास्त्रीय संगीत की शिक्षा भी ली है और वह ठुमरी की कला में माहिर हैं। वह एक bAware के नाम से एक संगठन भी चलाती हैं। ये संगठन महिलाओं के अधिकारों और सशक्तिकरण के लिए काम करते हैं।

बता दें कि केंद्रीय मंत्री अनुराग ठाकुर और यूपी भाजपा के प्रदेश अध्यक्ष स्वतंत्र देव सिंह की उपस्थिति में रविवार को भाजपा में कई प्रमुख हस्तियां शामिल होंगी। कयास लगाया जा रहा है कि इस दौरान अपर्णा भी भाजपा में शामिल होंगी।

समाजवादी पार्टी की छोटी बहू अपर्णा यादव हमेशा से ही उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ और पीएम मोदी की तारीफ करती आई हैं। यहां तक उन्होंने राम मंदिर के लिए 11 लाख 11 हजार का चंदा भी दिया था। इसके साथ दत्तात्रेय होसबले कि राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ के सरकार्यवाह बनने पर उनके साथ अपनी फोटो भी शेयर की थी। इससे भी बड़ी बात ये है कि सीएम योगी आदित्यनाथ और अरविंद सिंह बिष्ट का पैतृक गांव उत्तरकाशी जिले पौड़ी गढ़वाल होने से इनका रिश्ता और प्रगढ़ होने की बात कही जा रही है।

हाल ही आजतक से बातचीत में अपर्णा से पूछा गया था कि कहा जाता है कि मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ और बीजेपी के लिए आपकी सहानुभूति रखती हैं? इसके जवाब में अपर्णा ने कहा था कि मैं बस इतना कहना चाहूंगी कि वह योगी हैं, मेरे परिवार के संस्कार रहे हैं कि मैं संत-महात्माओं का बड़ा सम्मान करती हूं, उस हिसाब से मैं महाराजजी का बहुत सम्मान करती हूं, मैं उन्हें मुख्यमंत्री बनने से पहले से सम्मान देती आई हूं, मुझे नहीं पता था कि वह मुख्यमंत्री बन जाएंगे, बाकी वह गौरक्षक और गौप्रेमी हैं, इसलिए उन्हें नमन है।

योगी सरकार के कार्यकाल के बारे में सवाल पूछे जाने पर उन्होंने कहा था कि योगीजी बहुत मेहनती हैं, साधारण हैं, वह धर्म के साथ चलने वाले व्यक्ति हैं, मैं उनका बहुत सम्मान करती हूं, बाकी सरकार के स्तर पर अधिकारियों की लापरवाही की वजह से काम नहीं हो पा रहा है, मीडिया से ही पता चलता है कि अधिकारी नहीं सुन रहे हैं, ऐसे में योगीजी को गौर फरमाना पड़ेगा, क्योंकि सरकार तो बीजेपी की है।

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